कैसे करें कन्या पूजन..क्या रखें सावधानी..
1..नौ
दुर्गा का मतलब नौ वर्ष की
कन्या की पूजा करना होता है.
कन्या
पूजन दो वर्ष की कन्या से शुरू
किया जाता हैl
2..
वर्ष
की कन्या को "कुमारिका"
कहते
हैं और इनके पूजन से धन ,
आयु
,
बल
की वृद्धि होती है l
3..
वर्ष
की कन्या को '
त्रिमूर्ति
'
कहते
हैं और इनके पूजन से घर में
सुख समृद्धि आती है l
4..वर्ष
की कन्या को '
कल्याणी
'
कहते
हैं और इनके पूजन से सुख तथा
लाभ मिलते हैं l
5..
वर्ष
की कन्या को '
रोहिणी
'
कहते
हैं इनके पूजन से स्वास्थ्य
लाभ मिलता है l
6..
वर्ष
की कन्या को '
कालिका
'
कहते
हैं इनके पूजन से शत्रुओं का
नाश होता है l
7..वर्ष
की कन्या को '
चण्डिका
'
कहते
हैं इनके पूजन से संपन्नता
ऐश्वर्य मिलता है l
8..
वर्ष
की कन्या को '
साम्भवी
'
कहते
हैं इनके पूजन से दुःख-दरिद्रता
का नाश होता है l
9..वर्ष
की कन्या को '
दुर्गा
'
कहते
हैं इनके पूजन से कठिन कार्यों
की सिद्धि होती है l
10..
वर्ष
की कन्या को '
सुभद्रा
'
कहते
हैं इनके पूजन से मोक्ष की
प्राप्ति होती है l
सावधानी- कन्या पूजन में खास सावधानी यह है कि किसी जाति विशेष की कन्या के प्रति उदासीनता न रखें..कन्या पूजन में हर जाति विशेष वर्ग की कन्या को भोजन कराया जा सकता है..
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